पुरे हिन्दी भाषी क्षेत्रो मे साहित्य के दुनिया मे एक अलग छाप छोड़ने जा रही “ढाई मोर्चे का चक्रव्यूह” पुस्तक जल्द ही राष्टवादीयो के घरो मे पहुचने वाली है, इस पुस्तक मे हिन्दु धर्म और महान देश भारत कैसे ढाई मोर्चो पर लडाई लड रहा है कुछ कट्टर पंथी विचारधारा से, इसी खतरो से बचने के लिए अगाह किया गया है इस पुस्तक मे, बहुत ही कम शब्दो और सरल भाषा मे..?
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आइए जानते है लेखक के बारे मे लेखक के बारे में
‘अंकुर आर्य’ आर्ष गुरुकुलीय प्रणाली में निष्णात विशारद व आचार्य हैं जिन्होने दर्शन, उपनिषद्, स्मृति, नीति, श्रीगीताजी, रामायण व महाभारत का अध्ययन कर विश्वभर में वैदिक ग्रंथों का प्रचार प्रसार किया।
सोशल मीडिया पर सत्य सनातन नामक पेज चैनल के माध्यम से कट्टर पंथी लोगो को जबाव देते रहते है, इनके मिलियन मे राष्टवादी फॉलोअर्स है, जो इनकी प्रतिदिन विडिओ का इन्तज़ार करते रहते है
उन्होने 2013 में सरकारी नौकरी का लालच छोड गृह त्याग कर सम्पूर्ण भारत का भ्रमण किया व योग, अध्यात्म तथा गुरुकुलीय शिक्षा हेतु महर्षि दयानंद सरस्वती जी के सम्बोधन “वेदों की ओर लौटो” का संदेश लोगों तक पहुंचाया।
गुरुकुलीय शिक्षा के बाद उन्होंने इस्लाम, इसाईयत का सनातन ग्रंथों से तुलनात्मक अध्ययन किया तथा हिन्दुओं के विरुद्ध चल रहे ‘कन्वर्ज़न सिंडिकेट’ को तोडने के लिए सीधे शास्त्रार्थ का बिगुल फूंका तथा स्वामी श्रद्धानंद जी के शुद्धि आंदोलन को आगे बढाने हेतु अपनी आहुति देना आरम्भ किया।

जाकिर नाइक द्वारा वेद, उपनिषद्, गीताजी व रामायण पर लगाए सभी आक्षेपों का एक ही बार में निरुत्तर करने वाला जवाब देकर उन्होंने मनुस्मृति का अध्यापन किया जिसके द्वारा मनुस्मृति के विषय में फैलाई जा रही सभी भ्रांतियों का निवारण किया।
ख्वाजा मोईनुद्दीन चिश्ती दरगाह के खादिमों द्वारा ‘सोफिया कॉलेज ब्लैकमेल कांड’ पर पहली बार लोगों को पुनः जागृत करने के कारण राजस्थान सरकार द्वारा सन् 2020 में अभियोग भी चलाया गया। लेकिन उनका यह कार्य निरंतर जारी है।
य़ह भी पढ़े…गुरु ग्रन्थ साहिब में मांस शराब नशे आदि का खन्डन-मन्डन। पढ़े कई शास्त्रो का प्रमाण और सार
तुलनात्मक अध्ययन व भ्रांति निवारण के इसी युद्ध में उनकी पहली कृति “ढाई मोर्चे का चक्रव्यूह” देश के भीतर छिपे देश के दुश्मनों को पहचानने में सबसे बडा अस्त्र सिद्ध होगी

पुस्तक की विषेशता
ढाई मोर्चे का चक्रव्यूह पुस्तक लेखक की पहली पुस्तक है, इसलिए इसमे अनेक खुबिया है, एक एक अक्षर और मांत्रा को दसो बार संसोधन किया गया है, इस पुस्तक मे 33 अध्याय और 370 पृष्ठ है , इस पुस्तक के अन्दर गागर मे सागर की कहावत को सार्थक किया गया है,
किस विषय के उपर है यह पुस्तक
इस पुस्तक के बारे मे सत्य सनातन यूट्यूब चैनल पर अंकुर आर्य ने बार हेन्ट दिया है की देशभर मे मुस्लिम ईसाई मिशनरी कैसे दिमक की तरह देश और धर्म को खोखला कर रहे है । स्वतंत्रता के बाद से हर छोटी बड़ी घटना पर प्रकाश डाला गया है..?
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क्या यह पुस्तक भारत सरकार बैन कर देगी
लेखक अंकुर आर्य और कुछ विशेषज्ञो का तो यही कहना है की इस पुस्तक मे इतना कडवा सत्य है ब्लैक एंड व्हाइट मे की दर्जनो प्रिंटिंग प्रेस ने तो इसे छापने से मना कर दिया था, इसी लिये इसे कई महीनो से प्रि बुकिंग पर रखा गया है और लगभग 6 हजार लोग इस पुस्तक को सनातन हाट से प्री बुकिंग भी कर चुके है …?
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जल्द ही एक साथ सभी को ऑनलाइन कोरियर कर दिया जायेगा… जिससे अगर पुस्तक बैन भी हो तो भी हजारो घरो मे सुरक्षित पहुंच सके…?
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- Prince Vidyarthi